मासिक धर्म के दौरान दर्द होना सच में पीड़ादायक होता है। इस दौरान थकावट, ऐंठन और दर्द की वजह से आपका मन किसी भी काम को करने में नहीं लगता है। आपको सोचकर हैरानी होगी कि 'क्या मासिक धर्म के दौरान व्यायाम करना ठीक है?' जवाब है - हाँ। पीरियड्स के समय कुछ लोग नियमित व्यायाम करना छोड़ देते हैं, क्योंकि बहुत से लोगों को ऐसा लगता हैं कि मासिक धर्म के दौरान एक्सरसाइज ना करके आराम करना चाहिए। लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है।
व्यायाम मासिक धर्म के समय ऐंठन और दर्द को कम करने में मदद करते हैं। लेकिन मासिक धर्म के दौरान आपको हल्के व्यायाम ही करने चाहिए। पीरियड्स के समय भारी व्यायाम सिर्फ आपकी थकावट को ही बढ़ाएँगे। तो आइए जानते हैं कुछ ऐसी ही एक्सरसाइज के बारे में -
मासिक धर्म के समय वॉक करने से मसल्स होती है मजबूत -
मासिक धर्म के दौरान वॉकिंग सबसे अच्छा और आसान व्यायाम है। वॉकिंग तनाव को कम, निचले हिस्से को स्ट्रेच और सूजन को दूर करती है। यह भी एक ऐसी गतिविधि है जो शरीर पर अधिक जोर नहीं पड़ने देती है। कम से कम 30 मिनट के लिए वॉक करें। इससे आपके पैरो की गति आपकी पैल्विक मांसपेशियों को ढीला कर देगी जिससे दर्द दूर हो जाएगा।
नोट: लेकिन कुछ महिलाओं के लिए, वॉकिंग से ब्लीडिंग हो सकती है।
माहवारी में दर्द के लिए करें लेग लिफ्ट्स व्यायाम -
पीरियडस के दौरान व्यायाम करने का मतलब यह नहीं है कि आप व्यायाम करने के लिए घर से बाहर जाएँ। इस समय आप घर पर रह कर भी लेग लिफ्ट्स जैसे व्यायाम कर सकती है। लेग लिफ्ट्स आपके पेट, पीठ और पैल्विक मांसपेशियों को ढीला कर देगी।
लेग लिफ्ट्स शुरू करने के लिए एक चटाई पर लेट जाएँ। अपनी लेग्स को सीधा करें। धीरे धीरे अपने दाहिने पैर को ऊपर उठाएं ताकि आपके बट से फर्श के साथ 90 डिग्री का कोण बन जाएँ। कुछ देर ऐसे ही रहें, फिर अपनी लेग्स को नीचे ले आए। बाएं पैर के साथ भी इसी तरह करें और 5 से 10 बार दोहराएं।
साइड लंज एक्सरसाइज है मासिक धर्म में ऐंठन का उपाय -
सामान्य लंज के बजाए साइड लंज वर्जन अधिक अच्छा है। यह घुटनों पर करना आसान होता है जिससे मासिक धर्म के दौरान कम दर्द महसूस होता है। इस अभ्यास से कूल्हे, बट और जांघों में ऐंठन को लाभ मिलता है।
अपने दोनो पैरों को खोल लें। अपने दाहिने पैर के साथ किनारे पर जाएं और नीचे की तरफ झुकाव लें और अपने बाएं पैर को सीधे रखें।
अपने आप को वापस ऊपर की ओर पुश करें ताकि आप खड़े हों जाएँ। इसी तरह बाएं पैर के साथ 5 से 10 बार दोहराएं।
पीरियड्स में दर्द का इलाज है अधोमुख श्वान आसन -
अगर आपके निचले हिस्से में बहुत अधिक दर्द हो रहा है तो इसके लिए प्लांक या अधोमुख श्वान आसन करें। यह तनाव कम करने के साथ साथ आपकी आपकी पीठ को भी मजबूत करेगा। मासिक धर्म के समय इससे आपके कूल्हे, बट और पेट की ऐंठन से भी लाभ मिलेगा
- प्लांक करने के लिए, अपने हाथों और पैरों के बल आ जाएँ। अपने हाथो को जमीन पर सपाट रखें। टेबल मुद्रा में आ जाएं। इस अवस्था में घुटने हिप्स की चौड़ाई में होने चाहिए।
- पैर की उंगलियों को अंदर की ओर मोड़ें।
- सांस छोड़ते हुए हिप्स को ऊपर ले जाएं और पैरों को सीधा करें। ऐड़ियों को पीछे की ओर ले जाएं और जमीन से टिकाने की कोशिश करें।
- सिर को ज़मीन की दिशा में आरामदायक स्थिति में रखें और इस अवस्था में रीढ़ की हड्डी को सीधा रखने की कोशिश करें। इस मुद्रा में 10 से 15 सेकंड तक ऐसे ही रहें।
मासिक धर्म के दर्द में बालासन योग है लाभदायक -
चाइल्ड पोज़ या बालासन स्वास्थ्यप्रद और शांत आसान है। यह पीठ की लंबाई को भी बढ़ाता है, जिससे तनाव और खिंचाव से राहत मिलती है। यह मुद्रा हिप को खोलती है और पाचन में सुधार करती है, जिससे यह मासिक धर्म के दर्द के लिए एक बहुत ही अच्छा व्यायाम है।
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