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बद्ध कोणासन करने का तरीका और फायदे

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बद्ध कोणासन का नाम दो शब्दों पर रखा गया है: बद्ध और कोण। बद्ध का मतलब बँधा हुआ और कोण कर अर्थ कोना या अँग्रेज़ी में जिसे "ऐंगल" (angle) कहते हैं। यह आसन तितली आसन से काफ़ी मिलता जुलता है, यहाँ तक की अधिकांश लोग दोनो आसनों को एक ही समझते हैं। परंतु दोनो आसनों में बहुत अंतर है। तितली आसन में दोनो पैरों को जोड़ कर दोनो टाँगों को उपर-नीचे हिलाना होता है।

इस लेख में बद्ध कोणासन के फायदों और उसे करने के तरीको के बारे में बताया है। साथ ही इस लेख में बद्ध कोणासन के दौरान बरती जाने वाली सावधानियों के बारे में भी जानकारी दी गई है। लेख के अंत में बद्ध कोणासन से संबंधित एक वीडियो शेयर किया गया है।

बद्ध कोणासन के फायदे - 
  • बद्ध कोणासन के फायदे इस प्रकार हैं:
  • पेट के अंगों, अंडाशय और प्रोस्टेट ग्रंथि, मूत्राशय और गुर्दे को उत्तेजित करता है।
  • दिल को उत्तेजित करता है और शरीर में रक्त परिसंचरण में सुधार लाता है बद्ध कोणासन।
  • जांघों के अंदर के हिस्से, पीठ, और घुटनों में खिचाव लाता है।
  • बद्ध कोणासन हल्के अवसाद, चिंता और थकान को दूर करने में मदद करता है। 
  • मासिक धर्म संबंधी परेशानी और कटिस्नायुशूल (साइटिका) से राहत दिलाता है।
  • रजोनिवृत्ति के लक्षणों को दूर करने में मदद करता है बद्ध कोणासन।
  • फ्लैट पैर, हाई बीपी, बांझपन और अस्थमा के लिए चिकित्सीय है। 
  • गर्भावस्था के अंत तक अगर इसे किया जाए तो बद्ध कोणासन प्रसव को आसान बनाने में मदद करता है।
  • पारंपरिक ग्रंथों का कहना है कि बद्ध कोणासन अनेक बीमारियों को ख़तम करता है।
बद्ध कोणासन करने से पहले यह आसन करें - 
बद्ध कोणासन करने से पहले आप यह आसन कर सकते हैं:
  • वीरासन
  • प्रसारित पादोत्तासन 
  • जानुशीर्षासन 
  • तितली आसन 
बद्ध कोणासन करने का तरीका - 
बद्ध कोणासन करने की विधि इस प्रकार है:
  • दंडासन में शुरू करें।
  • तितली आसन की तरह ही घुटनों को मोड़ कर पैरों को दोनों हाथों से मिलाएं ताकि तलवे एक दूसरे को छू रहे हों। जितना हो सके पैरों को शरीर के करीब ले आयें, ज़बरदस्ती ना करें
  • संस्करण 1:
  • हाथों से घुटनों को नीचे की ओर दबायें ताकि वह जमीन को छुएें।
  • लेकिन शारीरिक क्षमता से ज़्यादा ना करें।
  • अगर शुरू में घुटने नीचे ना छुएें, तो धीरज रखें, समय के साथ घुटने नीचे लगने शुरू हो जाएँगे।
संस्करण 2:
  • जब घुटने नीचे लगने लगे और आपका लचीलापन बढ़ जाए तो ही यह संस्करण करें।
  • दोनो पैरों को हाथों से पकड़ लें।
  • कूल्हे के जोड़ों से आयेज की और झुकें जब तक की सिर ज़मीन को स्पर्श ना करे। 
  • ऐसा होने में कुछ दिन या हफ्ते या महीने लग सकते हैं। धीरज रखें।
  • संस्करण 1 या 2, दोनो ही 30 से 60 सेकेंड के लिए करें।
बद्ध कोणासन का आसान रूपांतर - 
  • बद्ध कोणासन को तनिक आसान बनाने के लिए पैरों को शरीर से तोड़ा दूर रख सकते हैं।जिनके घुटनों में दर्द या चोट हो उन्हे बद्ध कोणासन नहीं करना चाहिए
  • अगर घुटनों में दर्द महसूस हो, या जो महिलायें गरबवस्था में हो, उन्हे संस्करण 2 नहीं करना चाहिए। और संस्करण 1 के करने के लिए घुटनों के नीचे एक कंबल या तौलिया फोल्ड करके रख लें।
बद्ध कोणासन करने में क्या सावधानी बरती जाए -
जिनके घुटनों में दर्द या चोट हो उन्हे बद्ध कोणासन नहीं करना चाहिए।
जिन लोगों को ग्राय्न में, या साइटिका की परेशानी हो, या कमर में चोट हो तो उन्हे बद्ध कोणासन नहीं करना चाहिए।

बद्ध कोणासन करने के बाद आसन-
  • अर्ध मत्स्येन्द्रासन
  • गोमुखासन
  • मरीच्यासन
  • पद्यासन

बद्ध कोणासन का विडिओ -



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