एचआईवी और एड्स हालांकि खतरनाक बीमारी के रूप में जनि जाती है, परन्तु सही जानकारी और समय से इसके इलाज से इस बिमारी पर काबू पाया जा सकता है। लोगों की बीच में इन दोनों बिमारियों को लेकर बहुत से मिथक है जसके चलते लोग इन बिमारियों के बारे में सही दिशा में नहीं सोच पाते हैं।
आइये जानते है एचआईवी और एड्स से जुड़े मिथकों के बारे में :
1. मिथक – किस करने से फैलता है एड्स:
HIV पॉज़िटिव पीड़ितों के सलाइवा में बहुत ही कम मात्रा में यह वायरस होता है, जो किस करने से सामने वाले व्यक्ति में नहीं फैलता है।
2. मिथक – HIV पीड़ित द्वारा प्रयोग किये गए पानी से HIV/AIDS फैलता है:
HIV पानी के द्वारा किसी और को नहीं होता. HIV पीड़ित के स्विमिंग पूल में नहाने, उसके कपड़े धोने और उसका जूठा पानी पीने से किसी दूसरे को यह वायरस नहीं फैलता। इतना ही नहीं HIV पॉज़िटिव के इस्तेमाल किए हुए शावर या बाथरूम का इस्तेमाल करने से भी यह वायरस नहीं फैलता है।
3. मिथक – HIV पीड़ित के पास रहने से हो सकता है एड्स:
यह वाइरस हवा से नहीं फैलता है, तो अगर HIV पीड़ित आपके आस-पास खांसे, छींके या थूके तो आप इस वायरस की चपेट में नहीं आते हैं। इतना ही नहीं HIV पीड़ित को छूने, उन्हें गले लगाने और हाथ मिलाने से भी यह वायरस नहीं फैलता।
4. मिथक: एचआईवी/एड्स एक संक्रामक बीमारी है:
एचआईवी/एड्स संक्रामक बीमारी नही है। यह छूने से, पसीने से, आंसुओं से, साथ बैठने से, खाने से नही फैलता। यह संक्रमित रक्त चढ़ाने से, संक्रमित सुई इस्तेमाल करने से, असुरक्षित यौन संबंध बनाने से या फिर मां के दूध से फैलता है।
5. मिथक : एच.आई.वी/एड्स इलाज संभव है :
एच.आई.वी/एड्स का इलाज पूरी तरह से अभी भी संभव नहीं हैं, इसके इन्फेक्शन को रोका तो जा सकता है, परन्तु ज्यादा समय तक नहीं,इसको पूरी तरह से ठीक नहीं किया जा सकता है।
6. मिथक: जो एचआईवी / एड्स से ग्रसित हो गए उनका जीवन जल्द ही समाप्त हो जाता है:
जिन लोगों में यह वायरस पाया जाता है उनके मन में एक अवधारणा होती है कि उनका जीवन खत्म हो चुका है परन्तु ऐसा नहीं है। अब दवाओं और उपचारों के माध्यम से एचआईवी पीड़ित लोगों के जीवन जीने की समय सीमा में बढ़ोतरी की जा सकती है,और एक एचआईवी संक्रमित व्यक्ति भी सामान्य व्यक्तियों की तरह जीवन जी सकता है। एचआईवी संक्रमण के शुरुआती दौर में इलाज करवाने से इसको एड्स बनने से रोका जा सकता है।
7. मिथक: ओरल सेक्स (मुखमैथुन) से एचआईवी नहीं होता:
वैसे तो मुखमैथुन से एचआईवी होने की संभावना कम होती है, लेकिन अगर आपके मुह में किसी भी तरह का घाव हो तो इसकी संभावना बढ़ जाती है
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