आज के समय में यह कहना बहुत ही मुश्किल होगा कि कोई पूर्ण रूप से स्वस्थ्य है क्योंकि न चाहते हुए भी व्यक्ति को बीमारियाँ घेर लेती हैं। आज के समय में 35 वर्ष में तो व्यक्ति बूढ़ा होने लगता है। क्योंकि कई बार इससे पहले ही व्यक्ति को कई बीमारियाँ होने लगती हैं। छोटी-छोटी बीमारी जैसे सर्दी, खाँसी तो बहुत ही आम हैं। तो इसी सर्दी खांसी से पनपती हैं कई और बीमारियाँ। यहाँ हम आज आपको बताएँगे कि सूखी खाँसी को घरेलु उपचार से कैसे दूर कर सकते हैं। लेकिन इसके पहले हम जानेंगे कि खाँसी क्या है और इसके कितने प्रकार की हैं खांसी होने के मुख्य कारण क्या हैं। यह सब कुछ जानना बहुत जरुरी है ताकि इससे रोकथाम संभव हो सके।
खाँसी क्या है?:
खांसी एक ऐसी बीमारी है जिसमें व्यक्ति के गले या वायुमार्ग में परेशानी होती है और पूर्ण रूप से ऑक्सीजन न आने की वजह से गले से अजीब सी आवाज आती है जिसे खाँसी कहते हैं। खांसी समय शरीर के सभी भाग को प्रभावित होते हैं जैसे फेंफड़ों में दर्द, आँतों में दर्द, गले में दर्द इत्यादि। अधिकतर देखा जाता है कि खांसी की शुरुआत जुकाम से होती है। लेकिन कभी-कभी जुकाम से शुरू होने के बाद भी यह खाँसी सूखी होती है। और इसमें कई प्रकार की दिक्कत होती है क्योंकि कफ के जरिये इसे बाहर नहीं निकाला जा सकता।
अगर खांसी कई हफ़्तों तक बनी रहती है वह खांसी जानलेवा हो सकती है जिनके कारण टीवी जैसे रोग हो सकते हैं। इसलिए इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि अगर आपकी खाँसी को काफी समय हो गया है तो इसकी जाँच जरूर करवाएं। कई बार कई हफ़्तों की खांसी के बाद इसमें खून आने लगता है लेकिन कई बार लोग इसे भी नज़रअंदाज करते हैं। और यह बाद में बड़े रोग में परिवर्तित हो जाती है।
खांसी के लक्षण:
खांसी के कई लक्षण होते हैं और ये बहुत आसानी से समझ आ जाते हैं।
- नाक बहना और साथ में कान और सिर में दर्द होना।
- गले में खराश होना एवं कफ होना।
- बार-बार गले में चुभन होना।
- गले में दर्द होना और कुछ भी खाते या पीते न बनना।
- आवाज बैठना या गला लगना।
- सांस लेने में तकलीफ होना और गले में घरघराहट।
- जुकाम के साथ बुखार का होना।
अगर आपको ये सभी लक्षण दिखाई देते हैं तो आप तुरंत जांच कराएं। कहते हैं किसी भी बीमारी को बढ़ने से पहले ही रोक लेना चाहिए जिससे हम कई अन्य रोगों की रोकथाम कर सकते हैं। ये सभी लक्षण होते हैं खांसी के। अगर आपको इनमें से कोई भी लक्षण दिखाई देता है तो इसके प्रति सतर्क रहें।
खांसी के कारण:
खांसी के कारण कुछ भी हो सकते हैं लेकिन इसकी शुरुआत अधिकार होती है सर्दी जुकाम से। वैसे ये अन्य कारण भी खाँसी के हो सकते हैं।
धूल से एलर्जी:
कई लोगों को धूल से एलर्जी होती है जिसके कारण उन्हें सर्दी और जुकाम हो जाता है और धूल में सांस लेने की वजह से उनके वायुमार्ग में अवरोध उत्पन्न होता है परिणाम स्वरुप खाँसी हो जाती है। ये खाँसी कई दिनों तक दूर नहीं होती और इसमें व्यक्ति को कई प्रकार की तकलीफ होती हैं।
किसी बीमारी की वजह से:
कई बार कुछ ऐसी बीमारी हो जाती हैं जिसके कारण सांस नली पूर्ण रूप से कार्य करने में सक्षम नहीं होती और व्यक्ति को सांस लेने और छोड़ने में परेशानी होती है। और यह खाँसी की मुख्य वजह बन जाती है। इसका विशेष ध्यान रखना चाहिए और इसके प्रति जागरूक रहना चाहिए।
किसी को छूने से या उसके संपर्क में आने से:
ये तो हम सभी जानते हैं कि खाँसी कि कई बार वजह होती है सर्दी और जुकाम। तो यह बीमारी वायु के संपर्क में आकर एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति तक पहुँचती है। इसलिए किसी भी सर्दी, जुकाम और खाँसी वाले व्यक्ति से दूर रहना चाहिए या उससे मास्क पहनकर ही बात करना चाहिए। इस तरह से इस बीमारी से दूर रहा जा सकता है। यही सर्दी ये संक्रमित व्यक्ति को करना चाहिए।
ठंडा पानी पीने से:
अत्यधिक ठंडा पानी पीना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है। अगर आप अत्यधिक ठंडा पानी पीते हैं तो इसके कारण आपको खांसी का सामना करना पड़ सकता है। ठंडा पानी अत्यधिक नहीं पीना चाहिए इसे पाचन तंत्र भी बेकार होता है और फेंफड़ों पर भी बुरा असर पड़ता है और इससे मोटापा भी बढ़ता है।
पुरानी खांसी के और भी कई सामान्य कारण हो सकते हैं जैसे:
- ब्रोन्किइक्टेसिस
- सिस्टिक फाइब्रोसिस
- ब्रोन्कियोलाइटिस
- फेफड़ों का कैंसर
- नॉनस्टैमैटिक
- सारकॉइडोसिस
सूखी खांसी को दूर करने के उपचार:
खांसी चाहे जो भी हो उसमें सावधानी बरतना बहुत ही जरुरी है। खाँसी में सावधानी बरतने पर खांसी अन्य लोगों में नहीं फैलेगी और जल्दी ही ये रोग दूर हो जायेगा।
सूखी खांसी में लें भाप:
अगर आपको सूखी खांसी है तो आप भाप लें चाहें तो उसमें विक्स डाल सकते हैं जिससे कि आपकी सांस की नली में उत्पन्न हो रहा अवरोध नष्ट हो जायेगा। इससे आपको खांसी में आराम मिलेगा और सर्दी जुकाम में भी राहत मिलेगी। सूखी खांसी को दूर करने के लिए यह एक अच्छा उपचार है।
काढ़ा:
हल्दी, तुलसी, अदरक, काली मिर्च, तुलसी के पत्ते और गुड़ को मिलकर इनका काढ़ा बना लें इससे आपका गला साफ़ हो जायेगा और सूखी खाँसी से आपको राहत मिलेगी। सर्दी, जुकाम, खाँसी और बुखार इन सभी के लिए यह एक मात्रा काढ़ा ही बहुत है। यह सबसे अच्छा और सबसे पुराना खाँसी को नष्ट करने का घरेलु उपचार है।
तुलसी के पत्तों का सेवन:
तुलसी के पत्तों के सेवन के कई फायदे हैं। खाँसी में तो तुलसी के पत्तों का बहुत महत्व है क्योंकि अगर कोई प्रतिदिन सुबह तुलसी के पत्तों का सेवन करता है तो उससे खाँसी जैसे रोग नष्ट हो जाते हैं और सर्दी जुकाम भी नष्ट हो जाता है। तुलसी के पत्तों का सेवन तो प्रतिदिन करना ही चाहिए।
हल्दी और केसर वाला दूध:
हल्दी और केसर वाले दूध से किसी भी प्रकार का कफ या खाँसी को दूर किया जाना संभव है। इसलिए अगर आप रोज रात को हल्दी और केसर वाला दूध पीकर सोयेंगे तो उससे खाँसी और जुकाम में फायदा होगा।
शहद और सोंठ:
शहद के साथ सोंठ के चूर्ण को मिला लें और इसे सोते समय चाटने से खाँसी में राहत मिलती है। साथ ही जुकाम में भी राहत मिलती है। इसलिए आप शहद और सोंठ का सेवन सूखी खाँसी में रात को करके सोएं। इससे बहुत ही फायदा होगा।
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